उज्जैन। विश्व महिला दिवस (world women’s day) पर हम बात कर रहे है उज्जैन शहर की उन महिलाओं के बारे में जिन्होंने नारी शक्ति को एक पहचान प्रदान की है। हिम्मत, हौसला और जुनून के दम पर इन्होंने अपनी पहचान कायम कर यह साबित कर दिया कि अब महिलाएं किसी से पीछे नही है।
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एक दौर ऐसा था जब महिलाओ को अबला माना जाता था लेकिन अब दौर बदल गया है। नारी शक्ति के रूप में महिलाएं भी अब हर क्षेत्र में अपना लोहा मनवा रही है। उज्जैन शहर वैसे तो ऐसी महिलाओं की कमी नही है, लेकिन उनमें से कुछ चुनिंदा चेहरे ऐसे है, जो समाज को एक नई दिशा प्रदान कर रहे है। विश्व महिला दिवस (world women’s day) पर हम बात करते है ऐसी ही कुछ महिलाओं की जिन्होंने राजनीति, प्रशासनिक, पुलिस सहित चिकित्सा के क्षेत्र में अपनी अलग पहचान कायम की है।
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ईमानदार छवि और स्वच्छता के प्रति लगन- डॉ. कल्याणी पांडे
राज्य प्रशासनिक सेवा 2017 बैच की अधिकारी डॉ. कल्याणी पांडे भी एक दमदार अधिकारी है। जो नगर निगम उज्जैन में डिप्टी कमिश्नर स्वच्छ भारत मिशन के साथ-साथ एसडीएम कोठी महल की जिम्मेदारी भी निभा रही है। हम आपकों बता दे डॉ. कल्याणी पांडे पहले दंत चिकित्सक भी रही है, उसके बाद वर्ष 2017 में डीएसपी बन गई थी, 8 माह तक डीएसपी की ट्रेनिंग के बाद उनका चयन दिसंबर 2017 में राज्य प्रशासनिक सेवा में हो गया। तभी से वह राज्य प्रशासनिक सेवा में लगन के साथ कार्य कर रही है।
कैंसर पीड़िताओं के लिए मसीहा- डॉ. सतिंदर कौर सलूजा
सतिंदर कौर सलूजा की पहचान ख्यात स्त्रीरोग विशेषज्ञ होने के साथ समाजसेविका की भी है। वह अपनी संस्था जिजीविषा के माध्यम से कैंसर पीड़ित महिलाओं को जीवन दान देने का लगातार प्रयास कर रही हैं। सलूजा हर विकट परिस्थिति में समाज के हर वर्ग की मदद के लिए खड़ी रहती हैं। इनकी संस्था जिजीविषा लगातार महिला को होने वाले कैंसर संबंधित समस्याओं पर जागरूक करने का काम करती है। इसके अलावा वे सामाजिक कार्यों में हिस्सेदारी लेते हुए ऐसे आयोजनों में अपना पूरा सहयोग भी प्रदान करती है।
समाजसेवा और शिक्षा के क्षेत्र में वर्चस्व- डॉ. जया मिश्रा
जेके नर्सिंग होम की फाउंडर डॉ. जया मिश्रा की पहचान सौम्य चिकित्सक की है, वह बेहतरीन डॉक्टर होने के साथ बहुत अच्छी लेखिका, कवियित्री भी है। चिकित्सा पेशे में होने के बावजूद समाजसेवा और शिक्षा क्षेत्र में भी उनकी पहचान है। डॉ. जया मिश्रा ने एक छोटे से क्लीनिक से अपनी शुरूआत की थी। मेहनत, लगन और ईमानदारी के दम पर उन्होंने जेके नर्सिंग होम स्थापित किया। अब उनकी पहचान शिक्षाविद् की भी बन रही है। स्टैंडफोर्ड स्कूल के माध्यम से उन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में कुछ अनूठे प्रयोग किए हैं।
दबंग कार्यशैली और एक्टिव नेस पहचान- पल्लवी शुक्ला
राज्य पुलिस सेवा की अधिकारी पल्लवी शुक्ला की स्टाइल बिल्कुल अलग है। फील्ड में मौजूदगी और उनकी एक्टिव नेस से उन्होंने अपनी अलग पहचान बना ली है। क्राइम लोकेशन पर सबसे पहले पहुंचना और तेजी से घटनाक्रम का खुलासा करना उनकी खूबी बन गई है। हाल फिलहाल यूं तो शहर में पांच सीएसपी पदस्थ है, जिनमें सबसे ज्यादा सक्रिय सीएसपी पल्लवी शुक्ला को माना जाता है। हर परिस्थिति में अपनी सुझ और बुझ से मामले को हल करने में माहिर सीएसपी पल्लवी शुक्ला उज्जैन पुलिस के लिए एक शान से कम नही है।
महिला अपराधों की विशेषज्ञ- रेखा वर्मा
1998 का बैंच की पुलिस अधिकारी रेखा वर्मा वर्तमान में उज्जैन महिला थाना पुलिस की जिम्मेदारी संभाल रही है। रेखा वर्मा एक दमदार पुलिस अधिकारियों में शामिल है, इन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान सबसे ज्यादा सेवाएं महिला थाने में दी है, उसके पीछे मुख्य कारण यह है कि यह महिला अपराधों से जुड़े मामलों की विशेषज्ञ मानी जाती है। घर परिवार की जिम्मेदारी के बाद भी पुलिस विभाग में फिल्ड से जुड़ी जिम्मेदारी संभालने में माहिर रेखा वर्मा के पति संजय वर्मा भी पुलिस विभाग में ही सेवारत है।
कार्यशैली और संगठन शक्ति की ताकत- पुष्पा चौहान
कांग्रेस से राजनैतिक जीवन शुरू करने वाली पुष्पा चौहान अब भाजपा नेत्री हैं। उनकी कार्यशैली उन्हें अपनी समकालीन नेत्रियों से अलग करती है। भाजपा में उनकी संगठन शक्ति को देखते हुए ही उन्हें अजा मोर्चा के जिलाध्यक्ष का पद देकर सबको हैरान कर दिया। भाजपा अजा मोर्चा की कमान संभालने के बाद उन्होंने दौरे, और कार्यक्रमों का ऐसा सिलसिला शुरू किया कि मोर्चा में फिर से नई जान आ गई। इसके अलावा पुष्पा चौहान अपने फिटनेस को लेकर भी काफी चर्चाओं में रहती है, उनकी दिनचर्या में जीम जाना पहली प्राथमिकता है।
जनहित के प्रदर्शनों ने दिलाई पहचान- नूरी खान
छात्र संगठन एनएसयूआई ने राजनीति की पारी की शुरूआत करने वाली नूरी अब शहर ही नहीं बल्कि प्रदेश का जाना-पहचाना नाम बन गई है। शिप्रा के शुद्धिकरण का मुद्दा हो या कोविड की दूसरी लहर में सहायता उपलब्ध कराने का वह हर जगह खड़ी दिखाई दी। शहरहित की लड़ाई में नूरी सबसे आगे रहती है। जाति, धर्म और राजनीति से ऊपर उठकर राजनीतिक करना पहचान बन गया है, शहरहित के लिए अक्सर वह सड़कों पर प्रदर्शन करने से भी गुरेज नही करती है। नूरी खान की यही छवि महिला शक्ति का प्रतिक है।
लोगों से जुड़ाव ही पहचान- माया राजेश त्रिवेदी
कांग्रेस नेत्री माया राजेश त्रिवेदी सौम्य, गंभीर और जननेता है, सामाजिक कार्यों के साथ-साथ राजनैतिक मामलों में उनकी सक्रियता उनकी पहचान है। शहरहित के लिए भी लगातार आवाज बुलंद करने वाली कांग्रेस नेत्री माया त्रिवेदी एक लोकप्रिय पार्षद होने के साथ ही समाजसेवी के रूप में भी जानी जाती हैं। ब्राह्मण समाज में अच्छा वर्चस्व होने के बावजूद उनकी पहचान सर्वहारा की है। वह हर वर्ग के लिए लगातार काम करती रहती हैं। कोरोना काल में सेवा का भाव हो या अन्य कोई मुद्दा वह हमेशा सेवा और मदद के लिए तैयार रहती हैं।
विश्व महिला दिवस (World Women’s Day) पर DB News24 की ओर से सभी नारी शक्ति को प्रमाण…
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